Bhartiyam Logo

All Articles & Concept by:Vijay. K. Tewari

Feb 11, 2025

 

,मोदी की अमेरिका यात्रा से पूर्व कूकी की बलि चड़े विरेन सिंह !



प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी की अमेरिका यात्रा के पूर्व जिस अप्रत्याशित रूप से मणिपुर के मुख्य मंत्री विरेन सिंह से इस्तीफा लिया गया ,वह चौंका देने वाला वाकया था | दस महीने से ज्यादा समय से जातीय हीनशा में झुलस रहे मणिपुर में नेत्रत्व परिवर्तन की मांग काफी समय से की जा रही थी | परंतू मोदी - शाह की राजनीति में मंत्री की "”असफलता "” को कभी इस्तीफा देने का कारण नहीं मन गया ! फिर क्या हुआ की मणिपुर के मुख्य मंत्री से बीजेपी हाई कमान ने अचानक इस्तीफा ले लिया ? बताया जा रहा है की सत्तारूद बीजेपी के विधायकों ने मुख्य मंत्री के विरुद्ध "”अचानक "” अविश्वास व्यक्त किया ! कहा जाता है की सतरुद दल के 30 विधायकों ने दिल्ली में कहा था की अगर विरेन सिंह को नहीं हटे जाता तब वे अगले विधान सभा सत्र में काँग्रेस के "”अविश्वास प्रस्ताव "” का समर्थन करेंगे ! विधायकों के रुख को देखते हुए नेता द्वय ने विरेन सिंह को इस्तीफा देने को कहा !

परंतु अंदर की खबर हैं की प्रधान मंत्री अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प की नाराजगी नहीं मोल लेना चाहते थे |इसी लिए उन्होंने "”ईसाई कूकियों "” के ऊपर हुए अत्याचार की खबरों को खतम करने की नजर से विरन सिंह को हटा दिया | उनके इस्तीफे की मांग कूकी आदिवासी समुदाय 3 मई 2023 से कर रहा ,जब उनके मार्च पर मतेई समुदाय के लोगों द्वारा हमला किया गया | कूकी लोग मतेई समुदाय को आदिवासी का आरक्षण दिए जाने के विरोध में प्रदर्शन कर रहे थे |

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प धरम के मामले में अत्यधिक संवेदनशील है | उन्होंने व्हाइट हौसए में एक " feth ऑफिस खोले जाने का आदेश दिया हैं | जिसकी प्रमुख एवंगलिस्ट पौला व्हाइट हैं | अब इसी एक निर्णय से समझा जा सकता है की ट्रम्प अपने धरम को लेकर कितने संवेदनशील है , जबकि अभी तक हुए सभी राष्ट्रपति धरम को नितांत निजी मसला मानते रहे हैं | ट्रम्प द्वरा भारत के अवैध आप्रवासियों को जिस तरीके से हथकड़ी और बेदी लगा कर स्वदेश भेजा , उससे भी भारतवासी नाखुश हैं |


परंतु नरेंद्र मोदी जी को ट्रम्प की प्रसन्नता मोल लेने के लिए विरेन सिंह की कुर्बानी देनी पड़ी | इसलिए यह समझना की मणिपुर में 20 माह से हो रही अशान्ति और जातीय झगड़े के कारण सत्तारूद दल ने अपने "”मोहरे की कुर्बानी दी है "” गलत होगा |







गौर तलब है की मणिपुर मे कूकी आदिवासी , ना केवल अल्प संख्यक है वरन वे ईसाई धर्मावलम्बी है | जबकि मतेई सनातनी है | माना जाता हैं की दिल्ली की सरकार के नेताओ की "”हिन्दू राष्ट्र "” के समर्थन की नीति के कारण ही 21 महीने तक राज्य में हीनक्ष का तांडव होता रहा , और प्रारंभ में गृह मंत्री अमित शाह का दौरा हुआ था | उसके बाद सत्तारूद दल ने "”दंगा ग्रस्त मणिपुर "” को अपने हाल पर छोड़ दिया | काँग्रेस नेता राहुल गांधी दो दिन के दौरे पर वनहा गए थे और उन्होंने प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी जी से आग्रह किया था की वे मणिपुर जाए और वनहा शांति स्थापना का प्रयास करे |


परंतु चुनावी सफलता के मद में चूर दिल्ली सरकार को "”राजनीति"” ज्यादा पसंद थी शांति व्यवस्था की परवाह कम थी | इसी दौरान सैकड़ों लोगों की हत्या और बलात्कार तथा आगजनी की घटनाए हुई | कहा जाता है की ईसाई समुदाय के चर्चों को भी आग के हवाले किया गए |

No comments:

Post a Comment